मेरा वजूद पशु से भी था बदतर, भीम ने मुझे आदमी बना दिया। मेरा वजूद पशु से भी था बदतर, भीम ने मुझे आदमी बना दिया।
हमारे हौसले को जंजीरे, कब तक रोक पाई है, हमारे हौसले को जंजीरे, कब तक रोक पाई है,