तुम्हारी आँखों को पहले पढ़ लिया करता हूँ तुम्हारी आँखों को पहले पढ़ लिया करता हूँ
ऐ ज़िंदगी तू क्या है, आ कुछ लफ़्ज़ों में बयां कर लू; ऐ ज़िंदगी तू क्या है, आ कुछ लफ़्ज़ों में बयां कर लू;
दिल दुखा, दो शब्द बोल, तसल्ली तुझे अब न प्यार कर, दिल दुखा, दो शब्द बोल, तसल्ली तुझे अब न प्यार कर,
लफ्जों को वक्त नहीं बयां करने की ये सोच कर ही वह कितना वक्त गवाता है लफ्जों को वक्त नहीं बयां करने की ये सोच कर ही वह कितना वक्त गवाता है
हां मैं तेरे मेरे प्यार को लफ्जों में उतारना चाहती हूं।। हां मैं तेरे मेरे प्यार को लफ्जों में उतारना चाहती हूं।।
चलो करें अब ये मिट्टी के बात, कभी हाथ से बन जाती मूरत, चलो करें अब ये मिट्टी के बात, कभी हाथ से बन जाती मूरत,