मासूम
मासूम
कुछ साल पहले ही तो मैं इस दुनिया मे आया था
दुनिया क्या होती हैं मुझे कहा कुछ मालूम था
मम्मी पापा ही मेरे लिए मेरी दुनिया थे
हसता भी था रोता भी था
लेकिन हर वक्त अपने मम्मी पापा के साथ मैं रहता था
अभी कुछ महीने पहले की ही तो बात थी
पापा मुझे अपने कंधे पर उठा कर घुम रहे थे
और मेरे लिए पापा का कंधा जैसे झुला बन गया था
मेरे लिए तो वो दुनिया का सबसे अच्छा झुला था
मेरे खिल खिला कर हसने का कारण वो था
पर आज मुझे वो झुला कही नहीं दिखता
मेरी नज़र पापा को ही तलाश करती हैं
लेकिन पापा कही भी नज़र नहीं आते हैं
अब तो मां ही मेरे लिए मम्मी पापा बन गई हैं
लेकिन उस हादसे के कारण उनका भी साथ छुट गया
और मैं इस पूरी दुनिया मे अकेला रहे गया
मां के पास बैठ कर मैं अपने आसू बहा रहा था
वो क्यूँ नहीं बोल रही हैं मुझे
मैं तो यह भी नहीं समझ पा रहा था
बस बार बार मां को पुकार रहा था
वो २ साल का मासूम उन लोगों से
बस इतना पूछना चाहा रहता था
उसके और उसके मम्मी पापा की क्या गलती थी
जिसकी सज़ा वो भुगत रहा था।