शिमला का वो श्रापित जंगल
शिमला का वो श्रापित जंगल
आज मैं आप सभी को शिमला के एक श्रापित जंगल के बारे में बताने जा रहा हूं। शिमला शहर में रात को कई घटना होती रहती है। जिससे बचना बहुत मुश्किल है। शिमला के लोग रात के 12:00 बजे के बाद कभी भी घर से बाहर नहीं निकलते हैं। क्योंकि उन्हें लगता है कि कभी कुछ हमारे साथ बुरा ना हो जाए। इसलिए कोई भी रात को नहीं निकलता है।
शिमला में ऐसी कई जगह है जहां ऐसा ही रात का खौफ बना रहता है। जिसके बारे में मैं आप सभी लोगों को इस कहानी में बताने वाला हूं। शिमला में एक जंगल बहुत मशहूर है। सिर्फ दिनों में, पर रातों में उतना ही खौफ है। उनका मानना है कि रात के समय जो भी वहां पर जाता है। तो उसकी मृत्यु होनी पक्की है। वहां के लोगों का मानना है कि जो लोगों की वहाँ पर मृत्यु हो जाती है। तो उनकी आत्मा वहीं पर भटकती रहती है। इसलिए शिमला का वो जंगल शापित माना जाता है। और दिन में भी जो लोग वहां पर जाते हैं। उनको कभी-कभी लगता है कि हमें कोई हमारे नाम से बुला रहा है। जब हम पीछे मुड़कर देखते हैं। तो कोई नहीं होता और कभी-कभी तो लगता है कि कोई हमे पीछे से धक्का दे रहा हो
इसलिए दिनों में भी बहुत कम लोग उस जंगल में जाते हैं। क्योंकि वहां पर जाने में सभी लोगों को बहुत डर लगता है। कि हमारे साथ कोई दुर्घटना ना हो जाए। एक समय की बात है। जब हम और हमारे मित्र उस जंगल में घूमने गए थे। तब मेरे मित्र भी उसी जंगल के हो के रह गए। तब मेरे मित्र के पिताजी ने उस जंगल पे केस कर दिया था।
और तब से वह जंगल घूमने के लिए वहां की सरकार ने बंद करवा दिया। और आज भी वह जंगल सुनसान रहता है। क्योंकि वहां पर अब कोई नहीं जाता है। आज भी उस जंगल को श्रापित माना जाता है।