फिर एक दिन अचानक मुझे लगा कि इस रिश्ते का कोई भविष्य नहीं है ! फिर एक दिन अचानक मुझे लगा कि इस रिश्ते का कोई भविष्य नहीं है !
तो क्या तुम्हारा समाज हमें स्वीकार कर लेगा?” एक किन्नर ने प्रश्न पूछा। तो क्या तुम्हारा समाज हमें स्वीकार कर लेगा?” एक किन्नर ने प्रश्न पूछा।
देखो अतुल अगर शारीरिक सुख ही सब कुछ होता तो तलाक नहीं होते । देखो अतुल अगर शारीरिक सुख ही सब कुछ होता तो तलाक नहीं होते ।
उसके सपने कुछ और थे अभी से शादी की बेड़ियाँ उसे स्वीकार नहीं थीं। उसके सपने कुछ और थे अभी से शादी की बेड़ियाँ उसे स्वीकार नहीं थीं।
समाज तो वैसा ही बनेगा जैसा हम बनाना चाहेंगे। समाज तो वैसा ही बनेगा जैसा हम बनाना चाहेंगे।
हुआ ऐसा था की जब मेरी पोस्टिंग रामपुर में थी | हुआ ऐसा था की जब मेरी पोस्टिंग रामपुर में थी |